डॉक्टर्स ने कहा कि जीवन के कुछ दिन बचे हैं, लेकिन नहीं मानी हार..। 62 वर्ष की उम्र में कैंसर को दी मात
62 वर्ष की उम्र में कैंसर को दी मात
कैंसर का नाम सुनते ही डर लगता है, ऐसा डर कि इंसान और परिवार दोनों टूट जाएंगे। बहुत से लोग कैंसर से जूझ रहे हैं; कुछ लोगों का cancer आखिरी स्टेज पर है और दूसरों को पता नहीं है; फिर भी, जितनी जल्दी कैंसर का पता चल जाए और उसका इलाज शुरू हो जाए, उतना बेहतर है। हम आज हरियाणा के 62 वर्षीय प्रवेश शर्मा की कहानी बताने जा रहे हैं। प्रवेश शर्मा उत्तरी हरियाणा बिजली वितरण निगम के डायरेक्टर और इनकम टैक्स वकील हैं। 62 वर्ष की उम्र में उन्हें लीवर में पेन हुआ और उन्होंने डॉक्टर को करनाल में देखा।
रिपोर्ट में बहुत कुछ था। इसलिए, बीमारी को अधिक से अधिक जानने के लिए, उन्होंने अपनी रिपोर्ट और टेस्ट को चंडीगढ़ पीजीआई में करवाने का निर्णय लिया।
पीजीआई में कई जांच और फिर पेट स्कैन हुआ। उसके बाद पता चला कि लीवर में खतरनाक cancer था। इतना कि वह पीछे जा रहा है। डॉक्टरों ने यह भी कहा कि कीमो करवाने से कोई फायदा नहीं होगा। क्योंकि वर्तमान स्थिति से बचना मुश्किल है। घर वाले चिंतित और परेशान हो गए। गुरुग्राम के मेदांता हॉस्पिटल में उन्हें कई डॉक्टरों से सलाह दी गई। वहां पर रिपोर्ट्स देखा गया, समझा गया और फिर परिवार से कहा गया कि कैंसर का इलाज शुरू किया जाए।
कीमो के बाद झड़ गए बाल परिवार भगवान से प्रार्थना करते और प्रवेश जी अपना आत्मविश्वास बढ़ाते थे। हर 21 दिन बाद कीमो होने लगा। जिसमें उनके चेहरे और सिर के बाल गायब हो गए थे। क्योंकि कीमो एक बहुत महंगा और खतरनाक प्रक्रिया है जो शरीर को पूरी तरह से नष्ट कर देती है प्रवेश शर्मा बताते हैं कि सभी को लगता था कि अब बहुत समय नहीं बचा है, लेकिन भगवान का शुक्र है कि पहले 6 कीमो हुए। जिसमें cancer से जुड़े बेक्टिरिया हटाए गए। उसके बाद चार और कीमो हुए ताकि अधिक बेक्टिरिया न हों। सीएम मनोहर लाल ने भी प्रवेश शर्मा से मुलाकात की थी और उनका हालचाल जाना था।
70 साल का प्रवेश
प्रवेश शर्मा की सेहत अब पूरी तरह से ठीक है। उन्हें 70 साल हो गए हैं। वो स्वस्थ हैं और अपना काम करते हैं। वह कैंसर अवेयरनेस डे पर यही संदेश देते हैं कि कैंसर का उपचार संभव है। आप स्वस्थ हो सकते हैं, लेकिन आत्मविश्वास बहुत महत्वपूर्ण है। क्योंकि आपके लिए रोने लगते हैं, परिवार और मित्र, लेकिन आपको कैंसर से लड़ने के लिए दृढ़ रहना होगा।