Holika Dahan 2025: धार्मिक मान्यताओं के अनुसार, कुछ लोगों को होलिका दहन की अग्नि देखने या उसमें शामिल होने से बचने की सलाह दी जाती है। अब आइए जानते हैं कि किन लोगों को होलिका दहन देखना नहीं चाहिए।
Holika Dahan 2025: होलिका दहन फाल्गुन मास की शुक्ल पक्ष की पूर्णिमा को किया जाता है। 13 मार्च, गुरुवार इस वर्ष की शुभ तिथि है। हिंदू धर्म में होलिका दहन बुराई पर अच्छाई की जीत का प्रतीक है। भारत सहित कई देशों में इस पर्व का उत्साह देखा जाता है। इस दिन परिवार मिलकर होली माता की पूजा करते हैं और रात को होलिका दहन करते हैं। माना जाता है कि होलिका को दहन की अग्नि में डालने से घर में सुख-शांति और सकारात्मक ऊर्जा बनी रहती है। कुछ धार्मिक परंपराओं के अनुसार, कुछ लोगों को होलिका दहन की अग्नि देखने से बचने की सलाह दी जाती है। अब आइए जानते हैं कि किन लोगों को होलिका दहन देखना नहीं चाहिए।
इन लोगों को होलिका दहन नहीं देखना चाहिए
- नवविवाहित महिलाएं: जिन महिलाओं की हाल ही में शादी हुई हो,उन्हें ससुराल में पहली होली के दौरान होलिका दहन नहीं देखना चाहिए। इस मान्यता के कारण कुछ परिवारों में नवविवाहित दुल्हन को मायके भेजने की परंपरा भी है।
- शारीरिक रूप से कमजोर व्यक्ति: बीमार या वृद्ध लोगों को होलिका दहन के धुएं और गर्मी से बचने की सलाह दी जाती है, क्योंकि ये उनके स्वास्थ्य पर बुरा प्रभाव डाल सकते हैं, विशेष रूप से हृदय रोग या उच्च रक्तचाप से पीड़ित लोगों के लिए।
- विशेष हालात में महिलाएं: महिलाओं को मासिक धर्म के दौरान धार्मिक अनुष्ठानों में शामिल होने से बचने की कई परंपराओं में सलाह दी जाती है। यह पारंपरिक और व्यक्तिगत विचारों से देखा जाता है।
- नवजात शिशुओं को धुएं से बचाने और गर्मी से बचाने के लिए होलिका दहन स्थल से दूर रखना उचित माना जाता है, ताकि उनके स्वास्थ्य पर कोई बुरा असर न पड़े।
- महिलाएं जो गर्भवती हैं: कुछ मान्यताओं का कहना है कि गर्भवती महिलाओं को होलिका दहन की आग देखने से बचना चाहिए। यह सब व्यक्तिगत है, लेकिन धुएं और भीड़भाड़ से बचना भी स्वास्थ्य के लिए अच्छा हो सकता है।
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